2025-05-12
IDOPRESS
आतंकी को बताया मासूम मौलवी
नई दिल्ली:
पाकिस्तान का असली चेहरा एक बार फिर दुनिया के सामने आ गया है. पाकिस्तानी सेना के साथ जनाजे के दौरान खड़े मौलवी को लेकर बड़ा खुलासा हुआ है. पाकिस्तान की सेना के प्रवक्ता (DG ISPR) ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में दावा किया था कि वायरल तस्वीर में दिख रहा शख्स कोई आतंकी नहीं,बल्कि एक धर्मगुरु है. उन्होंने इस शख्स का राष्ट्रीय पहचान पत्र (ID कार्ड) भी दिखाया और कहा कि यह एक साधारण राजनीतिक कार्यकर्ता है. लेकिन जांच में सामने आया कि जिस व्यक्ति की पहचान DG ISPR ने बताई,उसका नाम,जन्मतिथि,और यहां तक कि नेशनल आईडी नंबर पूरी तरह से उस शख्स से मेल खाती है,जिसे अमेरिका ने एक ग्लोबल टेररिस्ट घोषित किया हुआ है.
पाकिस्तान की सेना के प्रवक्ता लेफ्टिनेंट जनरल अहमद शरीफ चौधरी ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में पूरे कॉन्फिडेंस के साथ दावा किया था कि वायरल तस्वीर में दिख रहा शख्स कोई आतंकी नहीं,बल्कि एक धर्मगुरु है. लेकिन जांच के सामने आया है कि ये शख्स एक वैश्विक आंतकी है और इसका नाम हाफिज अब्दुर रऊफ है.
अमेरिकी ट्रेजरी डिपार्टमेंट के मुताबिक,हाफिज अब्दुर रऊफ लश्कर-ए-तैयबा और उसके फ्रंट संगठनों के लिए चंदा इकट्ठा करता रहा है. जो ID कार्ड पाकिस्तान सेना के प्रवक्ता ने दिखाया,उस पर लिखा है कि वह 'वेलफेयर विंग इंचार्ज,पीएमएमएल (PMML) है.
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पाकिस्तानी सेना ने एक अंतरराष्ट्रीय आतंकी को मौलवी का चोला पहनाकर सभी को धोखा देने का प्रयास किया,लेकिन एक बार फिर वो बेनकाब हो गया है. पाकिस्तान एक बार फिर अपनी नापाक गतिविधियों को छिपाने के लिए एक राजनीतिक या धार्मिक संगठन के नाम का इस्तेमाल कर रहा है.पाकिस्तानी सेना ने जिस शख्स को धार्मिक प्रचारक बताया,वह वास्तव में एक अंतरराष्ट्रीय आतंकवादी है. इससे यह साफ होता है कि पाकिस्तान जानबूझकर आतंकियों को संरक्षण दे रहा है और दुनिया की आंखों में धूल झोंकने की कोशिश कर रहा है.
गौरतलब है कि 2006 में JUD और IKK को एलईटी की संस्थाएं मानते हुए अमेरिका ने E.O. 13224 के तहत प्रतिबंधित किया था. वहीं हाफिज सईद को 2008 में विशेष वैश्विक आतंकी (SDGT) घोषित किया गया और JUD तथा सईद दोनों को दिसंबर 2008 में संयुक्त राष्ट्र की 1267 सूची में डाला गया था.
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